बिन गुरु के
बिन गुरु के हमारा ये जीवन, जैसे माली बिना हो उपवन
हर भक्त का कहेता है मन, ना जाओ हमे छोड़ कर तम् ।
बिन गुरु के…
हर साँस में गुरु तुम हो, विश्वास में तुम ही तुम हो…
ईन चरणो में तुम्हारे, सर्वस्व ही अर्पण है…
जाओ गुरुवर जहाँ तुम, हमको न विसरे…।
हम भक्त है गौतम जैसे, ना तुमसे जुदा करना…
बिन गुरु के..
जीते थे मगर हम गुरुवर, जिंदा तुमने ही किया है।
सोये हुए आत्मा का, आवाज तुने दिया है…
सुना होगा ये… मन का आँगन, सुने होंगे ये नयन…
आँखों से बहे अश्रु जल, कैसे रोके इन्हे हम गुरुवर…-
बिन गुरु के…
हमसे जो भी हुआ अविनय, गुरु माफ हमें कर देना…
बालक समजकर हमको, क्षमा हमें कर देना…
कैसे भूलेंगे हम गुरुवर, वो पार्वती के पल…
सांनिध्य में जो है गुजरे, वो याद रहे हर पल…
बिन गुरु के… हर भक्त का…
याद आओगे बहुत तुम…
Name of Song : Bin Guru Ke
Language of Song : Hindi
Comments